मोबाइल के दुष्परिणाम पर निबंध | Essay on Mobile Addiction in Hindi

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मोबाइल के दुष्परिणाम पर निबंध | Essay on Mobile Addiction in Hindi

मोबाइल के दुष्परिणाम पर निबंध | Essay on Mobile Addiction in Hindi


मोबाइल का उपयोग दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। लोगों को मोबाइल की लत लग गई है। यहां पर मोबाइल की लत पर निबंध या मोबाइल के दुष्परिणाम पर Essay on Mobile Addiction in Hindi शेयर कर रहे हैं यह निबंध सभी कक्षाओं के विद्यार्थियों के लिए मददगार होगा।


मोबाइल के दुष्परिणाम पर निबंध | Essay on Mobile Addiction in Hindi



          मोबाइल के दुष्परिणाम (2020)

Or

मोबाइल फोन से लाभ और हानि (2017)

अथवा मोबाइल फोन (2019)

अथवा मोबाइल फोन के अति प्रयोग से संभावित हानियां (2019)


संकेत बिंदु:- प्रस्तावना, सुविधाओं का खजाना, जीवन शैली का अभिन्न हिस्सा, उपसंहार।


प्रस्तावना:- 'मोबाइल' अंग्रेजी भाषा का शब्द है, जिसका अर्थ है-गतिशील। इस प्रकार मोबाइल फोन का अर्थ है-एक ऐसा दूरभाष यंत्र, जिसे मनुष्य जहां चाहे ले जा सके और हमेशा अपने साथ रख सके। मोबाइल फोन की इसी खूबी ने इसे घर-घर तक पहुंचा दिया है। मोबाइल फोन के माध्यम से व्यक्ति कहीं भी रहकर विश्व के किसी भी क्षेत्र में रह रहे लोगों से संपर्क स्थापित कर सकता है। लाखों किलोमीटर दूर बैठे व्यक्ति से तुरंत बात करना हो तो हम मोबाइल का प्रयोग करते हैं। मोबाइल के बिना हमारा जीवन अधूरा सा लगता है। आजकल इंसान अपने दोस्तों या घरवालों से ज्यादा समय अपने मोबाइल के साथ गुजारता है। मोबाइल के जहां एक और कई फायदे हैं वहीं कुछ नुकसान भी हैं।


मोबाइल क्या है? :- यह एक ऐसा इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जिसके माध्यम से आप आसानी से किसी दूसरी जगह रह रहे व्यक्ति से बातचीत कर सकते हैं। संदेशों का आदान प्रदान कर सकते हैं ऑनलाइन अपने कामों को कर सकते हैं। मनोरंजन के लिए गेम खेल सकते हैं और भी बहुत कुछ ऐसे वायरलेस फोन सेल फोन सेल्यूलर फोन जैसे कई नामों से जाना जाता है। आजकल लोग मोबाइल के माध्यम से कमाने भी लगे हैं। मोबाइल फोन का आविष्कार होने से पहले रेडियो का आविष्कार हुआ था। जिस की तर्ज पर बाद में मोबाइल का आविष्कार किया गया। मोबाइल से भी पहले टेलीफोन का आविष्कार हुआ था। जिसमें आप तारों के माध्यम से एक दूसरे से बात कर पाते थे। मोबाइल का आविष्कार 1973 में मोटोरोला कंपनी ने किया था। इसे जॉन मिशेल और मार्टिन कूपर ने मिलकर बनाया था।


सुविधाओं का खजाना:- आजकल इसके नित नए-नए मॉडल विभिन्न मूल्यों पर उपलब्ध है। मोबाइल फोन की कंपनियां ग्राहकों की आवश्यकता को देखते हुए अनेक विशेषताओं वाले मोबाइल फोन बना रही है। आज मोबाइल फोन में बातचीत करने के साथ-साथ संगीत सुनने, फोटोग्राफी करने तथा गणना करने की भी सुविधाएं उपलब्ध रहती हैं। इतना ही नहीं आज इसका उपयोग कंप्यूटर की तरह किया जा रहा है। मोबाइल फोन पर ही इंटरनेट की सुविधाओं का लाभ उठाया जा रहा है। मोबाइल फोन एक दूसरे से संपर्क साधने में सहायता करता है तथा इससे कैलकुलेटर के रूप में भी सहायता की जाती है इसका उपयोग हम एक स्थान से दूसरे स्थान तक कोई भी संदेश भेजने के रूप में इस्तेमाल करते हैं मोबाइल फोन से आजकल हम पिक्चरें बा कार्टून देख कर अपना मनोरंजन करते हैं आजकल तो मोबाइल में अच्छी क्वालिटी के कैमरे भी आने लगे जिससे हम अपने फोटोग्राफी के शौक को भी पूरा कर सकते हैं। किसी भी स्थान पर पहुंचने के लिए हम इसमें मैप का उपयोग कर सकते हैं जो बिल्कुल करंट लोकेशन बताता है और अपने गंतव्य स्थल तक आसानी से पहुंच सकते हैं। आज व्हाट्सएप फेसबुक आईडी ऐसे एप इंजन के माध्यम से हम नए नए दोस्त बना सकते हैं और साथ ही अपने दोस्तों और परिवारों के साथ जुड़े रह सकते हैं जिससे हम हर समय हर पल की जानकारी ले सकते हैं। इसके उपयोग से घंटों काम आसानी से हो जाते हैं पैसों का लेनदेन हम आजकल मोबाइल से ही कर रहे हैं हमें बैंक जाना नहीं पड़ता।


मोबाइल से होने वाले लाभ :- 

मोबाइल के आने से हमें कई सारे लाभ हुए हैं जो निम्न है - 


  • इसकी मदद से हम दुनिया के किसी भी कोने में बैठे व्यक्ति से तुरंत बात कर सकते हैं। इसके लिए बस सामने वाले के पास और आपके पास मोबाइल होना चाहिए और उसका नंबर आपके पास होना चाहिए और आप उसे तुरंत ही संपर्क स्थापित कर सकते हैं।

  • मोबाइल अब सिर्फ बात करने का जरिया नहीं रह गया है बल्कि इंटरनेट चलाने का भी साधन बन गया है। इसकी मदद से आप इंटरनेट पर कई तरह की जानकारी खोज सकते हैं। अपनी शिक्षा और करियर के लिए इसे उपयोग कर सकते हैं मनरंजन के रूप में भी इसका प्रयोग कर सकते हैं।

  • मोबाइल में आजकल कई सारे बेहतरीन कैमरे आने लगे हैं जिससे आप अपने फोटोग्राफी करने के शौक को पूरा कर सकते हैं। पहले कहीं लोगों का कहना होता था कि उनके पास डीएसएलआर नहीं है। इसलिए वह अच्छी फोटोग्राफी नहीं कर पाते हैं तो इस मोबाइल की मदद से भी वह अच्छी फोटोग्राफी कर सकते हैं।

  • मोबाइल की मदद से आप कमाई भी कर सकते हैं । आजकल यूट्यूब और दूसरे कई सारे एप्लीकेशन है जो पैसा कमाने का विकल्प देते हैं इनसे आप अपनी अच्छी कमाई भी कर सकते हैं।

  • मोबाइल के जरिए आप घर बैठे अपने बैंक के काम जैसे किसी पैसे ट्रांसफर करना, अकाउंट खोलना, किसी योजना में पैसा निवेश करना कैसे काम कर सकते हैं इन कामों के लिए आपको बैंक के चक्कर लगाने की जरूरत नहीं पड़ती है क्योंकि अब पूरी बैंक आपके मोबाइल में ही आ गई है।

  • मोबाइल का उपयोग आप अपना बिजनेस बढ़ाने में भी कर सकते हैं। मोबाइल की मदद से आप तो उसे देश या दूसरे राज्य में बैठे व्यक्ति के साथ बिजनेस डील कर सकते हैं और अपने व्यापार बढ़ा सकते हैं।

  • मोबाइल की मदद से यदि आप बोर हो रहे हैं तो आप इसमें गेम खेल सकते हैं कुछ गेम ऐसे भी होते हैं जो आपको कमाने का भी विकल्प देते हैं नहीं तो आप दूसरे मनरंजन ऐप के माध्यम से अपना मनोरंजन कर सकते हैं।


मोबाइल का इतिहास :- 


"आवश्यकता ही आविष्कार की जननी है"


एक समय था जब हमें अपना संदेश एक जगह से दूसरी जगह पहुंचाने के लिए बहुत कठिनाइयों का सामना करना होता था। जैसे कबूतर के माध्यम से चिट्ठी लिखकर भेजना इसके बाद डाकिया हमारे संदेशों का आदान प्रदान करने लगा। लेकिन इसमें भी काफी समय लगता था । फिर इसका स्थान टेलीफोन ने ले लिया जिससे इस क्षेत्र में क्रांति ला दी लेकिन यह वायरलेस नहीं था यानी आप इसे एक स्थान से दूसरे स्थान पर नहीं ले जा सकते थे। 


आविष्कार और आगे बढ़ते हैं और मोबाइल आता है। अब व्यक्ति इसे एक स्थान से दूसरे स्थान आसानी से ले जा सकते हैं। इसको आसानी से अपने जेब में भी रख सकते हैं। आज के समय मोबाइल का उपयोग करता की यदि बात की जाए तो 2019 में एक अनुमान के अनुसार 4.8 बिलियन इसके उपयोग करता है।


मोबाइल की लत :- जब हम मोबाइल के फायदे की बात करते हैं तो इसके कुछ नुकसान भी देखने को मिल रहे हैं। जिस तरह से हमारे जीवन को सरल बनाया है इंसान इसका गुलाम बनता जा रहा है। वह अपने जीवन की कल्पना भी इसके बिना नहीं कर सकता है। उसकी दिनचर्या मोबाइल से शुरू होकर रात्रि तक इसके इर्द-गिर्द या चारों तरफ घूमती है।


यदि वह मोबाइल से थोड़ी भी देर लग रहे तो उसको बेचैनी होने लगती है। यह लत मोबाइल की स्क्रीन को बार-बार टच करने से लेकर उसकी किसी भी सोशल मीडिया एप जैसे फेसबुक, व्हाट्सएप, यूट्यूब किसी की भी हो सकती है। इसमें व्यक्ति अपने आसपास के माहौल से व्यक्तियों से खुद को दूर कर लेता है और मोबाइल की दुनिया में ही खुद को समेट लेता है। इसके अत्यधिक उपयोग के कारण बहुत सी शारीरिक समस्याएं जैसे सिरदर्द आंखें कमजोर होना और चिड़चिड़ापन की शिकायत होने लगती है जो हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत ज्यादा घातक सिद्ध होती है।


मोबाइल के द्वारा आर्थिक सामाजिक और शारीरिक क्षति इंसान की ही होती है। - 

  • आर्थिक क्षति के बात करें तो इनकी कीमत 1000 से लेकर लाखों रुपयों तक होती है। और थोड़ी सी भी लापरवाही से इसकी खराब होने की संभावना बहुत अधिक होती है।

  • सामाजिक क्षेत्र की बात करें तो व्यक्ति ने इसके उपयोग के चलते खुद को समाज से काट लिया है वह अपने पारिवारिक परिवेश को छोड़कर मोबाइल की दुनिया में ही खोया रहता है वह व्यक्तियों से मिलना जुलना बंद कर देता है।

  • शारीरिक क्षति की बात करें तो मोबाइल के उपयोग ने बहुत सारी शारीरिक समस्याओं को जन्म दिया है जैसे आंखों की रोशनी पर प्रभाव पड़ना और चश्मे का लग जाना हमारे मस्तिष्क पर गहरा प्रभाव पड़ना। व्यक्ति की एकाग्रता पर प्रभाव पड़ना जिसमें पढ़ने में मन ना लगना।


इसका इस्तेमाल सड़क दुर्घटना को भी जन्म देता है। व्यक्ति फोन पर बात करते हुए वाहन चलाते हैं जिससे दुर्घटनाएं होती हैं कभी-कभी यह दुर्घटनाएं इतनी बड़ी होती है कि इसमें व्यक्ति की मृत्यु भी हो जाती है।


इसका सबसे ज्यादा प्रभाव हमारी आने वाली पीढ़ी पर देखने को मिल रहा है बच्चों ने आउटडोर गेम खेलना बंद कर दिया है। वह पूरे समय मोबाइल में ही वीडियो देखने एवं गेम खेलने में लगे रहते हैं। इससे उनको बहुत कम ही उम्र में आंखों की रोशनी चली जाती है और उन्हें चश्मा लगवाना पड़ता है एक कारण यह भी है कि मोबाइल अत्यधिक युद्ध करने से उनको भूख भी कम लगती है। शारीरिक कमजोरी जैसे लक्षण देखने को मिल रहे हैं।


अक्सर अभिभावक बच्चों की जीत पर उन्हें मोबाइल पर ला देते हैं। बिना इस बात की जांच किए कि उनका बच्चा उस मोबाइल में क्या देख रहा है। क्योंकि मोबाइल हर उम्र के व्यक्तियों के लिए होता है अनावश्यक चीजों को देखने से बच्चा चिड़चिड़ा और अपराधिक प्रकृति के भी हो जाते हैं।


कई बार न्यूज़पेपर में देखने को आता है कि बच्चों ने अपने अभिभावकों के मोबाइल से ऑनलाइन शॉपिंग की और अकाउंट से पैसे कट गए। मोबाइल का उपयोग करके बच्चे कई अपराधिक कामों को भी अंजाम दे देते है।


जीवन शैली का अभिन्न हिस्सा:- मोबाइल फोन आज प्रत्येक मनुष्य की जीवनशैली का महत्वपूर्ण अंग बन चुका है। मोबाइल फोन त्वरित संप्रेषण का मुख्य साधन है। बिजली का बिल जमा कराने से लेकर बैंकिंग क्रियाकलाप तक आदि सभी कार्य घर बैठे मोबाइल द्वारा संभव हो जाते हैं। मोबाइल द्वारा हम एक-दूसरे से दूर होते हुए भी जुड़े रहते हैं, जो काम चिट्ठी-पत्र आदि से हफ्तों-महीनों में होता था, वह मोबाइल द्वारा मिनटों में संभव है। आजा साधारण-से-साधारण व्यक्ति के हाथों में भी मोबाइल फोन को देखा जाना इसकी उपयोगिता को प्रमाणित करता है।


मोबाइल का इस्तेमाल किस वर्ष में करें :-


आजकल छोटे छोटे बच्चों का मोबाइल से खेलना आम बात है। अक्सर माता-पिता रोते बच्चों को चुप कराने के लिए या फिर बच्चों का ध्यान हटाने के लिए उनके हाथ में मोबाइल फोन दे देते हैं जिससे बच्चे अक्सर कार्टून या फिल्म बगैरा देखते रहते हैं। कई बार तो बच्चे घंटो तक मोबाइल पर गेम ही खेलते रहते हैं। मां घर का काम निपटाने के लिए बच्चों को मोबाइल से देर तक देखने देते हैं। कभी-कभी तो ऐसा देखा गया है कि अपना फेवरेट सीरियल देखते वक्त छोटा बच्चा डिस्टर्ब ना करें इसलिए भी मैं उन्हें मोबाइल से कनेक्ट कर देती हैं। मोबाइल फोन एक बहुत ही उपयोगी गैजेट है लेकिन दो-तीन साल के बच्चों को मोबाइल इस्तेमाल करने देना बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास के लिए गंभीर रूप से हानिकारक हो सकता है।


  • रिसर्च से साबित हुआ है कि मोबाइल फोन से बहुत ही खतरनाक रेडिएशन निकलती है। मोबाइल फोन निकलने वाले इस खतरनाक रेडिएशन से नन्हे बच्चों के दिमाग में ट्यूमर हो सकते हैं जो आगे चलकर कैंसर जैसी घातक बीमारी के रूप में बदल सकती है। दरअसल दो-तीन साल के बच्चों के सर का विकास पूरा नहीं होता है। उनका सर छोटा होता है और मस्तिष्क के के पास हड्डियों की मोटाई बहुत कम होती है। सर के भीतर टिश्यू बहुत नाजुक होते हैं ऐसे में मोबाइल से फोन से निकला हुआ 60% से भी ज्यादा रेडिएशन बच्चों के मस्तिष्क के द्वारा शोक लिया जाता है और इस तरह से बच्चों के नर्वस सिस्टम को भयानक नुकसान पहुंचाता है। वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन यानी विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इस रेडिएशन को कैंसर के संभावित कारणों में शामिल किया है।

  • मोबाइल फोन सभी प्रकार के कम्युनिकेशन के लिए इलेक्ट्रोमैग्नेटिक तरंगों पर काम करते हैं। यहां बच्चों के दिमाग में भी अपने इलेक्ट्रिक सिग्नल होते हैं। जब मोबाइल फोन से निकलने वाली तिरंगे बच्चों के मस्तिष्क में पैदा होने वाली तरंगों को प्रभावित करते हैं तो उनके मस्तिष्क के स्वाभाविक रूप से कार्य करने की क्षमता प्रभावित हो जाती है। ऐसे बच्चों के पढ़ने लिखने और नई-नई बातें सीखने की क्षमता कमजोर हो जाती है।

  • मोबाइल फोन पर ज्यादा समय बिताने वाले बच्चों को अपनी उम्र के बाकी बच्चों के साथ खेलने और घुलने मिलने में परेशानी होती है और उनका स्वाभाविक सामाजिक विकास नहीं हो पाता है। ऐसे बच्चे अकेलेपन के आदी हो जाते हैं और उन्हें आगे चलकर डिप्रेशन और मानसिक बीमारी जैसे गंभीर मनोविकारों का शिकार भी होना पड़ता है।

  • मोबाइल फोन बच्चों में मेमोरी लॉस और अल्जाइमर्स जैसी बीमारियों की संभावना को बढ़ा देता है।

  • जिन बच्चों को अपने माता-पिता मोबाइल थमा कर अपने कामों के लिए वक्त निकालते हैं ऐसे बच्चे चिड़चिड़े हो जाते हैं। या हाइपर एक्टिव हो जाते हैं और उन्हें मोबाइल फोन नहीं मिलने पर रोना और चिल्लाना शुरू कर देते हैं। मोबाइल फोन से खेलने की जिद करते हुए ऐसे बच्चे कई बार तो घर में मेहमान या रिश्तेदारों के सामने बड़ी ही शर्मनाक स्थिति भी पैदा कर देते हैं।

  • ज्यादा देर तक मोबाइल फोन इस्तेमाल करने से बच्चों की आंखों पर बुरा असर पड़ता है और कम उम्र में ही चश्मा लगने की संभावना बढ़ जाती है।


उपसंहार:- नि:संदेह मोबाइल फोन हमारे लिए बेहद उपयोगी साधन है, किंतु इसके असीमित प्रयोग अथवा दुरुपयोग से बचने की आवश्यकता है। इसका अत्यधिक प्रयोग हमारे शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए अहितकर है। आजकल आतंक अथवा अन्य गैर-कानूनी गतिविधियों में भी इसकी सहायता ली जा रही है, जिससे हमें सावधान रहने की आवश्यकता है। यह फोन हमारे लिए तभी सार्थक सिद्ध होगा, जब इसका प्रयोग मानव कल्याणार्थ हो। तब यह हमारे लिए सचमुच वरदान सिद्ध होगा। मोबाइल हमारे लिए जरूरी है लेकिन हमें इसकी आदत लगने से बच के रहना चाहिए। मोबाइल में हम खुद फालतू के एप्स पर अपना ढेर सारा समय बर्बाद कर देते हैं। और इस कारण से करियर और शिक्षा में आगे नहीं बढ़ पाते हैं इसलिए मोबाइल का इस्तेमाल से अपनी जरूरत के हिसाब से ही करें।





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